नीलगिरी तेल जैसे आयुर्वेदिक तेल कमर दर्द से बहुत जल्द राहत देते हैं।
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नीलगिरी तेल अत्यंत ज्वलनशील होते हैं (ये वृक्ष विस्फोट के लिए जाने जाते हैं)
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नीलगिरी तेल का प्रयोग एक एंटीसेप्टिक और उत्तेजक औषधि के रूप में किया जाता है।
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नीलगिरी तेल का प्रयोग एक एंटीसेप्टिक और उत्तेजक औषधि के रूप में किया जाता है।
6.
इसमें कई तत्वों जैसे कपूर, पुदीने का फूल, नीलगिरी तेल आदि का समावेश है.
7.
कई रोगों में कारगर-नीलगिरी तेल का प्रयोग एक एंटीसेप्टिक और उत्तेजक औषधि के रूप में किया जाता है।
8.
नीलगिरी तेल अत्यंत ज्वलनशील होते हैं (ये वृक्ष विस्फोट के लिए जाने जाते हैं[7][10]) और झाड़ी की आग आसानी से तेल से भरपूर हवा के जरिए पेड़ों के शिखर तक पहुंच जाते हैं.
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नीलगिरी तेल अत्यंत ज्वलनशील होते हैं (ये वृक्ष विस्फोट के लिए जाने जाते हैं[7] [10]) और झाड़ी की आग आसानी से तेल से भरपूर हवा के जरिए पेड़ों के शिखर तक पहुंच जाते हैं.
10.
यूकेलिप्टस झाडी नुमा और लम्बे वृक्षों के रूप में देखे जा सकते है, भारत में तमिलनाडू की नीलगिरी पहाड़ियों पर राज्य के जंगलात के एक अफसर सर हेनरी रोह्ड्स मॉर्गन ने सन १८३० में यूकेलिप्टस का वृक्षारोपण करवाया वजह थी चाय के बागानों में काम करने वाले मजदूरों को जलाऊ लकड़ी मुहैया कराना, बाद में यही से नीलगिरी तेल का उत्पादन शुरू हुआ इन यूकेलिप्टस के वृक्षों से.